पाइल्स का मतलब: पूरी जानकारी हिंदी में
(What is Piles: Full Information In Hindi)
पाइल्स (Piles) याने बवासीर यह एक ऐसी बीमारी है जिस बीमारी में मरीज को बहुत परेशानी होती है। डॉक्टर आपके लक्षणों को देख उपचार करते है। इस ब्लॉग में हम बवासीर क्या होता है? बवासीर के प्रकार, कारण और लक्षणों जैसे महत्वपूर्ण बातों की जानकारी लेंगे |
TABLE OF CONTENTS
- पाइल्स क्या है? (What is Piles?)
- पाइल्स के प्रकार (Types of Piles)
- पाइल्स के कारण (Causes Of Piles)
- पाइल्स के सामान्य लक्षण (Symptoms of Piles)
- पाइल्स का निदान कैसे किया जाता है? (Treatment of Piles)
- पाइल्स का इलाज: दवा और सर्जरी (Piles Treatment: Medicine and Surgery)
- पाइल्स से बचने के लिए सुझाव (How to Prevent Piles)
पाइल्स क्या है? (What is Piles?)
पाइल्स (बवासीर) यह एक बहुत परेशान करने वाली बीमारी है। बवासीर, जिसे पाइल्स भी कहा जाता है, आपके गुदा के आसपास या आपके निचले मलाशय में सूजी हुई और फूली हुई नसें होती हैं । वे तब होते हैं जब गुदा नलिका याने मलाशय और गुदा को जोड़ने वाली जो नली होती है उसको लाइन करने वाली छोटी नसें सामान्य से ज़्यादा रक्त से भर जाती हैं। ऊपरी ऊतक के साथ मिलकर, वे एक या अधिक सूजी हुई गांठें (बवासीर) बनाते हैं।
बवासीर दो प्रकार की होती है:
- बाहरी बवासीर, जो गुदा के आसपास की त्वचा के नीचे बनती है।
- आंतरिक बवासीर, जो गुदा और निचले मलाशय की परत में बनती है।
इस प्रकरो का संपूर्ण विश्लेषण हम आगे देखेंगे।
पाइल्स के प्रकार (Types of Piles)
पाइल्स के कुछ सामान्य प्रकार याने आंतरिक पाइल्स और बाहरी पाइल्स। पाइल्स के प्रकार अनुरूप उसके लक्षण होते है। डॉक्टर आपके लक्षणों और पाइल्स के प्रकार को देखकर ही आपके इलाज की शुरुवात करते है। चलिए जानते है इन प्रकारों के बारे में:
1. आंतरिक पाइल्स (Internal Haemorrhoids)
आंतरिक बवासीर गुदा के अंदर शुरू होती है, लेकिन वे समय के साथ नीचे लटक सकती हैं और प्रोलैप्स भी हो सकती हैं, जिससे मल में रक्तस्राव और गुदा क्षेत्र में खुजली हो सकती है। यह आंतरिक बवासीर कम दर्द देने वाली होती है। इसका रंग गुलाबी होता है। इसमें मल त्यागते वक्त खून टपकता है या पिचकारी जैसा ज्यादा मात्रा में भी आ सकता है। इस प्रकार में गुदा के अंदर मस्से होते है। मल त्यागने के बाद वे अपने आप ही अंदर चले जाते है। गंभीर प्रकारों में यह हाथ से अंदर दबाने के बाद भी अंदर नहीं जाते इसलिए जल्द से जल्द इसका इलाज कराए।
2. बाहरी पाइल्स (External Haemorrhoids)
हो जाता है। वे बैठने पर दर्द का कारण बनते हैं, साथ ही शौच करते समय खून के निशान भी होते हैं, और प्रोलैप्स याने गुदा से बाहर आना हो सकते हैं।
प्रोलैप्स बवासीर को चार अलग-अलग प्रकारों में वर्गीकृत किया जाता है , इस आधार पर कि वे कब बाहर निकलती हैं, और वे गुदा से कितनी दूर तक बाहर निकलती हैं:
- ग्रेड I : बवासीर से खून बहता है, लेकिन वह गुदा में ही रहता है।
- ग्रेड II : बवासीर मल त्याग के बाद बाहर निकल आती है, लेकिन बाद में अपने आप ही अंदर चली जाती है।
- ग्रेड III: मल त्याग के बाद बवासीर बाहर निकल आती है, लेकिन आपको शारीरिक रूप से उन्हें गुदा के अंदर वापस धकेलना पड़ता है।
- ग्रेड IV : बवासीर हमेशा बाहर की ओर होती है और उसे अंदर की ओर नहीं धकेला जा सकता। अगर उनके अंदर खून जम जाता है, तो वे थ्रोम्बोस्ड बवासीर बन जाते हैं, जिसमें खून बहता है और बहुत दर्द होता है।
पाइल्स के कारण (Causes Of Piles)
बवासीर का सटीक कारण व्यक्ति पर निर्भर करता है। अध्ययनों से पता चला है कि उनका विकास गुदा में बढ़े हुए दबाव (तनाव) से जुड़ा हुआ है, जो रक्त प्रवाह में बाधा डालता है और नसों को फैलाने और उभारने का कारण बनता है। यह इन कारणों से हो सकता है:
- मल त्याग के दौरान प्रयास
- कब्ज़ या लंबे समय तक रहने वाला दस्त
- लम्बे समय तक (शौचालय पर) बैठे रहना
- गर्भावस्था या प्रसव
- मोटापा
- नियमित रूप से भारी वजन उठाना
उम्र बढ़ने के साथ ही बवासीर का खतरा भी बढ़ जाता है। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि बवासीर को अपनी जगह पर बनाए रखने वाला सहायक ऊतक उम्र के साथ कमज़ोर और खिंच जाता है। जिससे बवासीर के फूलने और बाहर निकलने की संभावना बढ़ जाती है।
1. कब्ज और अनुचित आहार
पाइल्स होने का मुख्य कारण कब्ज होता है। अगर आप कब्ज से परेशान है तो वक्तपर सावध हो जाए। कब्ज की वजह से गुदा में दबाव बढ़ जाता है। गुदा में बढ़ा दबाव रक्त प्रवाह में बाधा डालता है। इस कारणवश नसे फैलती है। कब्ज तभी होता है जब आहार में फाइबर युक्त आहार का समावेश न हो। प्रोसेस्ड फूड, मसालेदार, तला हुआ खाना ऐसे आहार की आदतें ही कब्ज का कारण बनती है।
2. भारी वजन उठाना और गर्भावस्था
पाइल्स एक सामान्य कारण वजन उठाना और गर्भावस्था भी है। गर्भावस्था में पेट का बढ़ता वजन दबाव निर्माण करता है इसलिए पाइल्स हो सकती है। गर्भावस्था में हुई पाइल्स डिलीवरी के बाद ठीक हो सकती है। पेट का अतिरिक्त भार होने के कारण यह होता है। इसके अलावा अगर आपका वजन बहुत ज्यादा है (मोटापा) तो भी आपको पाइल्स का प्रॉब्लम हो सकता है।
पाइल्स के सामान्य लक्षण (Symptoms of Piles)
पाइल्स के लक्षण व्यक्तियों के बीच भिन्न हो सकते हैं और बवासीर के प्रकार पर निर्भर करते हैं। मलाशय से रक्तस्राव, विशेष रूप से डॉक्टर से परामर्श किया जाना चाहिए क्योंकि यह अन्य दबावपूर्ण मलाशय और बृहदान्त्र स्थितियों का संकेत हो सकता है – जरूरी नहीं कि बवासीर ही हो।
आंतरिक बवासीर आमतौर पर लक्षणहीन होते हैं, शायद ही कभी दर्द पैदा करते हैं, जब तक कि वे गुदा से बाहर न निकल जाएं। बवासीर (पाइल्स) के मरीजों को निम्नलिखित लक्षणों का अनुभव होता है:
- १. गुदा के आसपास सख्त गांठ की महसूसी होती है। यह गांठ दर्दनाक होती है। इस गांठ में खून के थक्के याने ब्लड क्लॉट्स होते है। थ्रोम्बोस्ड बाहरी बवासीर के नाम से जाने वाले बवासीर खून से भरा होता है।
- २. बवासीर का एक महत्वपूर्ण लक्षण याने मल त्यागने के बाद चमकीला लाल खून दिखाई देता है।
- ३. गुदा क्षेत्रों में बहुत खुजली और दर्द महसूस होता है।
- ४. मल त्याग करते वक्त बहुत दर्द होता है।
- ५. मल त्यागने के बाद भी मरीज को ऐसा लगता है जैसे अभी भी उसकी आंतों में अभी भी मल मौजूद है।
1. गुदा क्षेत्र में दर्द और खून आना
अगर आपको पाइल्स की तकलीफ है तो आपके गुदा क्षेत्र में तेज दर्द और जलन महसूस हो सकती है। बवासीर के परेशानी में मल त्यागते वक्त खून आना आम बात है। यह बहुत दर्दनाक होता है। इसका जल्द से जल्द इलाज करना बहुत महत्वपूर्ण होता है।
2. खुजली और सूजन
पाइल्स के एक लक्षणों में से और एक लक्षण याने खुजली। गुदा क्षेत्रों में खुजली और सूजन आना यह पाइल्स की निशानी है। गुदा क्षेत्र में तैयार हुवे खून से भरे मस्से इलाज न कराने पर सूज जाते है और मरीज को चलने – फिरने, उठने – बैठने के लिए भी तकलीफ हो सकती है।
- 1. गुदा के बाहर फंसी हुई बवासीर
- 2. दर्दनाक रक्त के थक्के
- 3. उत्तेजित त्वचा टैग
- 4. लाल रक्त कोशिकाओं की कम मात्रा, जिससे एनीमिया होता है
- 5. गला घोंटने वाली बवासीर के मामले में रक्त की आपूर्ति की हानि
पाइल्स का इलाज: दवा और सर्जरी (Piles Treatment: Medicine and Surgery)
आज हर क्षेत्र की तरक्की हुई है। अगर आपको पाइल्स है तो डरने की बिल्कुल जरूरत नहीं। इस दर्दभरे बीमारी का भी इलाज होता है। बाहरी बवासीर के मामले में, उपचार में प्रभावित क्षेत्र में क्रीम या सपोसिटरी लगाना और गर्म पानी डालना शामिल होता है। गंभीर दर्द के मामलों में, आप काउंटर दर्द निवारक ले सकते हैं।
आंतरिक बवासीर के लिए, उन्हें हटाने के लिए रबर बैंड लिगेशन या सर्जिकल हस्तक्षेप जैसी न्यूनतम आक्रामक प्रक्रियाएं आवश्यक हो सकती हैं।
अगर आप मुंबई में किसी अच्छे पाइल्स के इलाज के लिए हॉस्पिटल की खोज में है तो प्राइम क्लीनिक आपके लिए एक बेहतर सुझाव हो सकता है। यह क्लीनिक पनवेल में स्थित है। इस क्लीनिक में पाइल्स का इलाज किया जाता है। इस क्लीनिक में जो डॉक्टरों की टीम है वह आपके परेशानी को अच्छे से जान उसपर इलाज करते है ताकि आप जल्द से जल्द ठीक हो जाए और आप आपकी रोजाना जिंदगी किसी भी दर्द के सिवा जी सके।
पाइल्स के लिए घरेलू उपाय:
- १. एलोवेरा: एलोवेरा से जलन और सूजन कम होती है यह एक अच्छा घरेलू उपचार है। इससे कब्ज की भी समस्या नहीं होती।
- २. अंजीर: एक गिलास पानी में तीन अंजीर रातभर भिगो कर सुबह खाली पेट इसका सेवन करने से बवासीर के समस्या में राहत मिलती है।
- ३. नींबू: पाइल्स की समस्या में नींबू के रस में शहद और अदरक मिलाकर सेवन करने से थोड़ी राहत मिलती है।
- ४. मट्ठा और अजवायन का सेवन: मट्ठे में अजवायन और काला नमक डाल के पीने से पाइल्स से आराम मिलता है।
- 5. गला घोंटने वाली बवासीर के मामले में रक्त की आपूर्ति की हानि
आप आपके डॉक्टर के सलाह से दवाओं के साथ कुछ घरेलू उपाय भी कर सकते है। कुछ भी उपाय करने से पहले आप आपकी डॉक्टर की सलाह जरूर ले।
पाइल्स से बचने के लिए सुझाव (How to Prevent Piles)
अगर सेहदमंद जीवन जीना है तो आहार पर विशेष ध्यान देना चाहिए। अपने आहार में फाइबर ज्यादा मात्रा में हो इसका ध्यान रखना चाहिए। अपने आहार में हरी सब्जियां, सीजनल फल और विशेष तौर पर भरपूर पानी का समावेश करना चाहिए। दिन में कम से कम २.५ से ३ लीटर पानी का सेवन करने से कब्ज की समस्या नहीं होती और पाइल्स की समस्या से भी बचा जा सकता है।
शारीरिक गतिविधियां और तनाव से बचाव
सिर्फ पोषक आहार अपने स्वास्थ्य को पूरी तरह से ठीक नहीं रखता। अगर सेहदमंद जीवन का आनंद लेना है तो पोषक आहार के साथ साथ शारीरिक गतिविधियां याने व्यायाम करना आवश्यक होता है। साथ ही शौचालय में मल त्यागने के लिए जोर लगाना, तनाव निर्माण करना पाइल्स का कारण बन सकता है। तनाव से नसों पे दबाव निर्माण होता है।
पनवेल में पाइल्स के इलाज के लिए सबसे अच्छा क्लीनिक कौन सा है?
पनवेल में स्थित प्राइम क्लीनिक पाइल्स के इलाज के लिए सबसे अच्छा विकल्प है। यहाँ अनुभवी डॉक्टरों की टीम आधुनिक और सुरक्षित उपचार प्रदान करती है।
क्या बवासीर में खून आना आम बात है?
हां! अगर आपको पाइल्स की तकलीफ है तो मल त्यागते वक्त खून आना आम बात है। जल्द से जल्द डॉक्टर की सलाह ले।
क्या पाइल्स की सर्जरी करना जरूरी है?
डॉक्टर आपके पाइल्स की तीव्रता देख दवा देना या सर्जरी करना तय करते है।
पाइल्स का मतलब क्या होता है? (What is Piles Meaning in Hindi?)
पाइल्स, जिसे बवासीर कहा जाता है, गुदा और मलाशय के आसपास की सूजी हुई नसों की समस्या है। यह कब्ज, भारी वजन उठाने या गर्भावस्था के कारण हो सकता है।
क्या बवासीर में हमेशा खून आता है?
नहीं, हर बार खून आना जरूरी नहीं है। आंतरिक बवासीर में खून आ सकता है, जबकि बाहरी बवासीर में सूजन और दर्द अधिक होता है। अगर खून लगातार आ रहा हो, तो डॉक्टर की सलाह लें।
पाइल्स के इलाज के लिए कौन-कौन सी दवाइयां उपलब्ध हैं?
हल्के पाइल्स के लिए दर्द निवारक क्रीम, सपोसिटरी और मल को नरम करने वाली दवाइयां इस्तेमाल होती हैं। गंभीर मामलों में डॉक्टर सर्जरी की सलाह दे सकते हैं। सही इलाज के लिए प्राइम क्लीनिक, पनवेल पर संपर्क करें।
पाइल्स से बचने के लिए क्या करना चाहिए?
फाइबर युक्त आहार खाएं, खूब पानी पिएं, और नियमित व्यायाम करें। मल त्यागते समय जोर लगाने और लंबे समय तक शौचालय में बैठने से बचें।
क्या प्राइम क्लीनिक में पाइल्स का सर्जरी इलाज उपलब्ध है?
हाँ, प्राइम क्लीनिक, पनवेल में पाइल्स के लिए आधुनिक और न्यूनतम आक्रामक सर्जरी उपलब्ध है। यहाँ रबर बैंड लिगेशन, स्टेपलिंग और अन्य आधुनिक प्रक्रियाएं की जाती हैं।
क्या गर्भावस्था के बाद पाइल्स ठीक हो सकती है?
गर्भावस्था में बढ़ते वजन और हार्मोनल बदलावों से पाइल्स हो सकती है। यह समस्या डिलीवरी के बाद सही इलाज और उचित देखभाल से ठीक हो सकती है। प्राइम क्लीनिक, पनवेल में विशेषज्ञ डॉक्टर से संपर्क करें।
पाइल्स के लिए घरेलू उपाय क्या हैं?
घरेलू उपायों में फाइबर युक्त आहार, एलोवेरा का उपयोग, और गर्म पानी से सेंक शामिल हैं। लेकिन गंभीर मामलों में जल्द से जल्द डॉक्टर की सलाह लें। प्राइम क्लीनिक, पनवेल में विशेषज्ञों से इलाज कराएं।
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